दिल्ली के मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी के प्रमुख अरविंद केजरीवाल आबकारी नीति मामले में पूछताछ के लिए रविवार को केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI) के मुख्यालय पहुंचे. सीएम केजरीवाल ने सीबीआई दफ्तर पहुंचने से पहले राजघाट जाकर महात्मा गांधी की समाधि पर उन्हें श्रद्धांजलि दी. इस दौरान पंजाब के सीएम भगवंत मान और कैबिनेट सहयोगी भी उनके साथ दिखे. वहीं उनके साथ सीबीआई मुख्यालय जा रहे आम आदमी पार्टी के नेता, सांसद और दिल्ली केबिनेट के मंत्रियों को पुलिस ने लोधी रोड के पास रोक लिया, जिसके बाद वे सभी धरने पर बैठ गए.
सीबीआई अधिकारियों ने इससे पहले केजरीवाल को गवाह के रूप में बुलाया गया है और वह आबकारी नीति मामले में आरोपी नहीं है. उन्होंने बताया था कहा कि एजेंसी आप प्रमुख से नीति निर्माण की प्रक्रिया के बारे में सवाल कर सकती है और दिल्ली मंत्रिपरिषद के समक्ष रखी जाने वाली उस फाइल के बारे में खासतौर पर पूछा जा सकता है, जिसका ‘पता नहीं चल सका’ है.
सीबीआई मुख्यालय के बाहर कड़ी सुरक्षा व्यवस्था
सीएम केजरीवाल की रविवार को पेशी मद्देनजर यहां सीबीआई मुख्यालय के बाहर कड़ी सुरक्षा व्यवस्था की गई है. अधिकारियों ने बताया कि अर्धसैनिक बलों सहित 1,000 से अधिक सुरक्षाकर्मियों को सीबीआई मुख्यालय के बाहर तैनात किया गया है और क्षेत्र में दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) की धारा 144 लागू की गई है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि चार से अधिक लोग एकत्र नहीं हों.
पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि राउज एवेन्यू में आम आदमी पार्टी (आप) के कार्यालय के बाहर भी सुरक्षा कड़ी कर दी गई है. इसके साथ उन्होंने बताया कि ‘आप’ कार्यालय और सीबीआई मुख्यालय के पास सड़कों पर अवरोधक लगाए गए हैं, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि पार्टी कार्यकर्ता एवं समर्थक किसी प्रकार की समस्या पैदा नहीं कर पाएं.
अधिकारी ने कहा, ‘अर्धसैनिक बलों सहित 1,000 से अधिक सुरक्षाकर्मियों को सीबीआई मुख्यालय के बाहर तैनात किया गया है ताकि कोई अप्रिय घटना न हो.’
पहले से जेल में हैं मनीष सिसोदिया
बता दें कि केंद्रीय एजेंसी ने इस मामले में दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया को पिछले महीने गिरफ्तार किया था. सीबीआई अधिकारियों ने कहा कि उन्होंने केजरीवाल को रविवार को पेश होने को कहा है क्योंकि इस दिन क्षेत्र में कार्यालय बंद रहते हैं. सीबीआई ने जब सिसोदिया को अपने मुख्यालय बुलाया था, तब भी उसने यही रणनीति अपनाई थी. उसने तब आठ घंटे तक पूछताछ करने के बाद उन्हें हिरासत में ले लिया था.