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बिना AIS के फाइल न करें ITR, पड़ सकता है भारी, जानिए क्या है AIS, क्यों है जरूरी

इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) फाइल करने की आखिरी तारीख 31 जुलाई 2023 है. ऐसे में अगर आप भी इनकम टैक्स रिटर्न फाइल (IT Return file) करते हैं तो अब आपके लिए एक खास सुविधा लॉन्च की गई है. दरअसल, इनकम टैक्स विभाग ने आयकर रिटर्न (Income Tax Return) भरने की प्रक्रिया को और आसान बनाने के लिए “एनुअल इंफॉर्मेशन स्टेटमेंट (Annual Information Statement AIS)” नाम से एक नई सुविधा लॉन्च की है. टैक्सपेयर्स अब अपने इनकम टैक्स रिटर्न को फाइल करने से पहले इसे नए एनुअल इंफॉर्मेशन स्टेटमेंट से सत्यापित कर सकते हैं और भविष्य में इनकम टैक्स डिपार्टमेंट की नोटिस का सामना करने से बच सकते हैं.

एनुअल इंफॉर्मेशन स्टेटमेंट (AIS), पुराने फॉर्म 26AS की तुलना में अधिक विस्तृत है और इसमें टैक्सपेयर्स की वह सभी जानकारी शामिल होती है, जो इनकम टैक्स विभाग के पास पहले से है. AIS की मदद से आयकर भरना बेहद आसान हो जाता है. चलिए जानते हैं इसके बारे में डिटेल में….

क्‍या है फॉर्म AIS
इसकी मदद से करदाता के लिए अपना आईटीआर भरना काफी आसान हो जाएगा. एआईएस यानी एनुअल इन्‍फॉर्मेशन स्‍टेटमेंट का सीधा मतलब है कि सालभर की सभी वित्‍तीय जानकारियां यानी अलग अलग माध्‍यमों से हुई कमाई का ब्‍योरा इसमें मिल जाता है. इस कमाई में बचत खाते पर ब्‍याज से मिली राशि, रिकरिंग अथवा एफडी से हुई कमाई, डिविडेंट के रूप में मिले पैसे, म्‍यूचुअल फंड अथवा सिक्‍योरिटीज से हुई कमाई और विदेश से हुई कोई आय शामिल रहती है.

क्यों है जरूरी
AIS से आईटीआर फाइलिंग में पारदर्शिता लाने और टैक्सपेयर्स के लिए चीजें सरल होंगी. AIS की मदद से आयकर भरना बेहद आसान हो जाता है. इसलिए ITR भरने से पहले AIS आपके पास होना चाहिए. जब तक AIS आपको न मिल जाए, ITR फाइल न करें. क्योंकि बिना AIS आईटीआर फाइल करने पर आंकड़ों में अंतर आ सकता है. हालांकि अभी अपडेट AIS उपलब्ध नहीं है, लेकिन संभावना है कि मई के पहले हफ्ते में टैक्सपेयर्स के लिए यह दस्तावेज उपलब्ध रहेगा.