शेख हसीना के तख्तापलट पलट के बाद से ही बांग्लादेश के साथ तनाव लगातार बढ़ रहा है. बांगलादेश में ना सिर्फ हिंदुओं को निशाना बनाया जा रहा है बल्कि मंदिरों को भी नुकसान पहुंचाया जा रहा है. हालात पूरे बांग्लादेश में हालात बद से बदतर है. भारत विरोधी गतिविधियां चरम पर है. लेकिन लगता है बांग्लादेश कि तनाव को सुलझाने के बजाए इसे हवा देने में जुटा है. उसी कड़ी में भारतीय इलाके में गैरकानूनी तरीके के मछुआरों का आना और उनका पकड़ा जाना, बांग्लादेश इसे विवाद के तौर पर हवा दे सकता है. ऐसा नहीं है कि भारतीय समुद्री सीमा में पहले कोई गैरकानूनी तरीके से मछली पकड़ते नहीं पकड़ा गया. लेकिन इस वक़्त जब तनाव चरम पर है, और ऐसा होना जमात के लिए हालात को और ख़राब करने का मौका बन सकता है. भारतीय कोस्ट की समुद्र में हर एक गतिविधियों पर कडी नजर है और हर एक नाव और ट्रालर जो भी संदिग्ध दिखता है उसे चेक किया जाता है. उसी का नतीजा है कोस्ट गार्ड ने 78 बांग्लादेशी मछुआरों को भारतीय सीमा में धर दबोचा है.
अलर्ट कोस्ट गार्ड ने पकड़े बांग्लादेशी मछुवारे
बांग्लादेश के हालात को देखते हुए भारतीय एजेंसियाँ अलर्ट पर हैं. बांगाल की खाड़ी में तट के पास कोस्ट गार्ड तो हाई सी में नौसेना सतर्क है. इसी का नतीजा है कि 9 दिसंबर को कोस्ट गार्ड ने एक साथ दो मछली पकड़ने वाले बड़े ट्रालर को पकड़ा. जिसमें कुल 78 मछुआरे मौजूद थे. ये वाक्य तब हुआ जब भारतीय कोस्ट गार्ड का एक शिप इंटरनेशनल मेरिटाइम बाउंड्री लाइन पर गश्त कर रहा था. उस वक्त कोस्ट गार्ड ने भारतीय मेरिटाइम ज़ोन में कुछ संदिग्ध हरकत देखी. कोस्ट गार्ड ने तुरंत अपने ऑपरेशन को लॉंच किया. दो बांग्लादेशी मछली पकडने वाले ट्रालर, जो कि भारतीय समुद्री इलाके में गैरकानूनी तरीके में मछली पकड़ रहे थे उनको पकडा. एक ट्रालर का नाम FV- लैला जिसमें 41 और दूसरे का नाम FV मेघना जिसमें 37 क्रू मौजूद थे. दोनों ही ट्रालर बांग्लादेश में रजिस्टर्ड है. बोट को पकड़ते ही सबसे पहले उसकी तलाशी ली गई और सभी 78 मछुआरों के हिरासत में लेकर पारादीप ले जाया गया जहां पर आगे की पूछताछ होगी.
क्या और बढ़ेगा तनाव ?
बांग्लादेश की अर्थव्यवस्था का सबसे बड़ा साधन या तो गार्मेंट इंडस्ट्री है या फिर मछली का कारोबार. बांग्लादेश के पास मछली पकड़ने के 243 इंडस्ट्रियल ट्रालर और 67699 छोटे मछली पकड़ने वाली छोटी बड़ी बोट रजिस्टर्ड हैं जिसमें से 34 हज़ार के करीब मैकेनाइज्ड है. और मैकेनाइज्ड बोट ही तट से दूर मछली पकड़ने के लिए निकलती है. अब बांग्लादेश पकडे गए मछुवारों को एक मुद्दा बना सकता है. भारत हमेशा से पड़ोसियों के साथ अच्छे रिश्ते रखना चाहता है और उसी को याद दिलाने के लिए खुद विदेश सचिव ने बांग्लादेश का दौरा किया. लेकिन अपने इलाके में किसी को गैरकानूनी तरीके से काम करने की इजाजत नही दे सकता. जमात के का प्रभाव इस कदर हावी है कि बांग्लादेश के केयरटेकर सरकार को कुछ दिखाई ही नहीं देता. अब अगर जमात ने इस बात को हवा दी तो दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ने की एक और वजह बन सकती है.