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एमपीसी की बैठक समेत और किन फैक्टर्स से तय होगी बाजार की चाल, जानिए एक्सपर्ट्स की राय

भारतीय रिजर्व बैंक के ब्याज दरों पर निर्णय से इस सप्ताह मुख्य रूप से स्थानीय शेयर बाजारों की दिशा तय होगी. विश्लेषकों का कहना है कि इसके अलावा वैश्विक रुझान और विदेशी कोषों की गतिविधियां भी बाजार को दिशा देंगी. बाजार निवेशकों की निगाह सप्ताह के दौरान राज्यों के विधानसभा चुनावों के नतीजों पर भी रहेगी.

स्वस्तिका इन्वेस्टमार्ट लि. के शोध प्रमुख संतोष मीणा ने कहा, ‘‘वैश्विक संकेतों की वजह से बाजार में उतार-चढ़ाव बना रहेगा. हालांकि, बाजार भागीदारों की निगाह घरेलू संकेतकों मसलन रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) की बैठक के नतीजों तथा गुजरात और हिमाचल प्रदेश के विधानसभा चुनावों के नतीजों पर भी रहेगी. विधानसभा चुनावों के नतीजे आठ दिसंबर को आएंगे.’’ मीणा ने कहा कि वैश्विक मोर्चे पर अमेरिका में बॉन्ड यील्ड और डॉलर इंडेक्स में गिरावट आई है और आगे बाजार की इस पर भी नजर होगी.

विधानसभा चुनाव के नतीजों का इंतजार
वृहद आर्थिक मोर्चे पर सोमवार को सेवा क्षेत्र के लिए पीएमआई के आंकड़े आएंगे. मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल सर्विसेज के खुदरा शोध प्रमुख सिद्धार्थ खेमका ने कहा, ‘‘निवेशक बेसब्री से विधानसभा चुनावों के नतीजों का इंतजार कर रहे हैं.’’ वहीं, सैमको सिक्योरिटीज में बाजार परिदृश्य प्रमुख अपूर्व सेठ का मानना है कि इस सप्ताह शेयर बाजारों के लिए सबसे बड़ा घटनाक्रम रिजर्व बैंक की मौद्रिक समीक्षा है. कोटक सिक्योरिटीज लिमिटेड के अमोल अठावले भी इस बात से इत्तेफाक रखते हैं. साथ ही वे ये भी कहते हैं कि निकट भविष्य में बाजार की चाल पर फेडरल रिजर्व की बैठक का भी असर होगा. उन्होंने आगे कहा कि इसके साथ ही ब्रेंट कच्चे तेल के दाम और रुपये का उतार-चढ़ाव भी बाजार की दिशा के लिए महत्वपूर्ण रहेगा.

पिछले हफ्ते बाजार में दिखी तेजी
बीते हफ्ते बाजार में केवल शुक्रवार को छोड़कर बाकी दिन बाजार में गजब की तेजी देखने को मिली. बुधवार को सेंसेक्स ने पहली बार 63,000 का आंकड़ा भी पार कर लिया. सेंसेक्स और निफ्टी ने बीते हफ्ते अपने-अपने रिकॉड हाई छुए. सेंसेक्स की शीर्ष 10 में से 8 कंपनियों का बाजार पूंजीकरण 1,15,837 करोड़ रुपये बढ़ गया है. इस दौरान सबसे अधिक कमाई रिलायंस इंडस्ट्रीज की हुई.