लाल किले की प्राचीर से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) ने देश के आगे आज 5 प्रण और स्वदेशी का मंत्र भी दिया. प्रधानमंत्री ने कहा कि हमें आत्मनिर्भर भारत की ओर बढ़ना होगा. प्रधानमंत्री ने भारतीय बच्चों की प्रशंसा करते हुए कहा कि आज हमारे 5-5 साल के बच्चे भी यह संकल्प ले रहे हैं कि विदेशी खिलौनों से नहीं खेलेंगे. प्रधानमंत्री की यह बात खिलौना आयात (Toys Import) के आंकड़ों में आई भारी गिरावट से साबित भी होती है.
भारत ने जहां 2018-19 में 2601.32 करोड़ रुपये के खिलौने आयात किए थे, वहीं 2021- 22 में खिलौनों का आयात गिरकर 817.57 करोड़ रुपये रह गया. भारत सबसे ज्यादा खिलौना आयात चीन से ही करता है. 2018-19 में जहां भारत ने 2024.75 करोड़ के खिलौने आयात किए थे, 2021-22 में भारत ने चीन से महज 443.20 करोड़ के ही खिलौने निर्यात किए हैं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई वाली केंद्र सरकार खिलौना उत्पादन में भारत को आत्मनिर्भर बनाने के लिए लंबे समय से प्रयास कर रही है.
लगातार बढ़ रहा है निर्यात
भारत खिलौनों का अब एक प्रमुख निर्यातक भी बन रहा है. भारत ने 2018-19 में 1425.15 करोड़ रुपये के खिलौनों का निर्यात किया. 2019-20 में 1688.21 करोड़ रुपये के खिलौने भारत ने निर्यात किया. 2020-21 में 1768.50 करोड़ के खिलौने दूसरे देशों को भेजे. वहीं 2021-22 में भारत से 1754 करोड़ रुपये के खिलौनों का निर्यात हुए.
गिर रहा है खिलौना आयात
मेक इन इंडिया मुहिम का असर खिलौना बाजार में साफ नजर आ रहा है. भारतीय बाजार में स्वदेशी खिलौनों की हिस्सेदारी लगातार बढ़ रही है. यही कारण है कि भारत का खिलौना आयात लगातार कम होता जा रहा है.
वाणिज्य मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक भारत ने 2018-19 में 2601.32 करोड़ रुपये का खिलौना आयात किया था. 2019-20 में 2431.13 करोड़ के खिलौने भारत ने विदशों से मंगवाए. वहीं, 2020-21 में इसमें भारी गिरावट आई और खिलौना आयात 1317.28 करोड़ रुपये रह गया. वित्त वर्ष 2021-22 में खिलौना आयात और गिरा तथा यह महज 817.57 करोड़ रुपये रह गया.